छत्तीसगढ़ में OBC आरक्षण पर विवाद, पूर्व PCC अध्यक्ष ने उठाए सवाल
रायपुर: छत्तीसगढ़ में ओबीसी (पिछड़ा वर्ग) आरक्षण को लेकर विवाद बढ़ता जा रहा है। जिला पंचायतों में OBC के लिए आरक्षण न मिलने के कारण पूर्व प्रदेश कांग्रेस कमेटी (PCC) अध्यक्ष धनेन्द्र साहू ने प्रदेश सरकार पर निशाना साधा है। उन्होंने चुनाव स्थगित कर OBC को उचित आरक्षण देने की मांग की और चेतावनी दी है कि अगर उनकी मांगें पूरी नहीं होतीं, तो कांग्रेस पार्टी प्रदेशभर में बड़े स्तर पर आंदोलन करेगी।
धनेन्द्र साहू ने कहा, “भाजपा सरकार ओबीसी आरक्षण को खत्म करने की साजिश कर रही है। मुख्यमंत्री ने पहले कहा था कि ओबीसी को 50% आरक्षण मिलेगा, लेकिन बस्तर और सरगुजा में सिर्फ झुनझुना थमाया गया है। यह पिछड़े वर्ग के साथ अन्याय है। यदि सरकार अपनी नीतियों में बदलाव नहीं करती, तो कांग्रेस प्रभावी आंदोलन करेगी।”
राज्य में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव के लिए आरक्षण प्रक्रिया पूरी हो चुकी है। 11 जनवरी को प्रदेश के सभी 33 जिला पंचायत अध्यक्ष पद के लिए आरक्षण हो गया है। रायपुर जिला पंचायत अध्यक्ष की सीट सामान्य वर्ग के लिए रखी गई है। धमतरी, महासमुंद, सारंगढ़-बिलाईगढ़ और मुंगेली में भी सामान्य वर्ग के लिए सीटें निर्धारित की गई हैं। 33 में से 16 सीटें अनुसूचित जनजाति (ST), 4 सीटें अनुसूचित जाति (SC) और 13 सीटें सामान्य वर्ग के लिए आरक्षित की गई हैं। इनमें 17 सीटें महिलाओं के लिए आरक्षित हैं, लेकिन ओबीसी के लिए किसी भी पद का आरक्षण नहीं किया गया है।
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पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने भी जताई आपत्ति
OBC के लिए पद आरक्षित न होने पर पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने सरकार से सवाल किया और सूची को रद्द कर संशोधित सूची जारी करने की मांग की। उन्होंने अपने आधिकारिक एक्स अकाउंट पर लिखा, “जिस प्रदेश में लगभग 50% आबादी OBC वर्ग की है, वहां उन्हें आरक्षण न देना भाजपा की सोच ही हो सकती है। इस सूची को रद्द कर नई संशोधित सूची जारी करनी चाहिए।”
यह स्थिति छत्तीसगढ़ में OBC आरक्षण को लेकर बढ़ते असंतोष का कारण बनती जा रही है, और राजनीतिक दल सरकार से जवाब मांग रहे हैं।