CG News: 42 सचिवों के तबादले से भड़का संघ, कलेक्टर से की कार्रवाई रद्द करने की मांग
दंतेवाड़ा। छत्तीसगढ़ के दंतेवाड़ा जिले में हाल ही में 42 पंचायत सचिवों के एक साथ किए गए तबादलों को लेकर पंचायत सचिव संघ ने तीखी आपत्ति जताई है। संघ ने इसे नियम विरुद्ध और मनोबल तोड़ने वाला कदम बताते हुए तबादला आदेश को तत्काल रद्द करने की मांग की है। इसके साथ ही संघ ने निलंबित सचिव को बिना शर्त बहाल करने की भी अपील की है।
संघ ने लगाए नियमों की अनदेखी के आरोप
संघ पदाधिकारियों – भरत हपका (जिलाध्यक्ष), पीलूराम डेगल (संरक्षक), और गंगाराम भास्कर (जिला सचिव) ने मीडिया को बताया कि सचिवों का तबादला पंचायतों की नियुक्ति एवं सेवा शर्तों के प्रावधानों के विपरीत किया गया है।
- नियमों के अनुसार तबादले जनपद पंचायतों के सीईओ की अनुशंसा पर किए जाने चाहिए।
- लेकिन वर्तमान आदेश में इस आवश्यक प्रक्रिया को नजरअंदाज किया गया।
‘ब्रेक इन सर्विस’ से बढ़ा सचिवों का आक्रोश
संघ ने यह भी आरोप लगाया कि 5 जनवरी 2025 को 27 सचिवों का पहले ही तबादला किया गया था। पंचायत चुनाव की तैयारियों और मतदाता सूची जैसे कार्यों में व्यस्त रहने के कारण कई सचिव समय पर योगदान नहीं दे सके।
- इसके बावजूद उन्हें अनुशासनात्मक कार्रवाई का सामना करना पड़ा।
- 10 सचिवों की सेवा में 10-10 दिन की ‘ब्रेक इन सर्विस’ घोषित की गई — जो राज्य में अपनी तरह का पहला मामला है।
- वहीं, एक सचिव को निलंबित भी कर दिया गया।
दिव्यांग सचिवों के साथ भी हुई अनदेखी
संघ ने दावा किया कि शासन के निर्देशों के बावजूद दिव्यांग सचिवों को दूरस्थ पंचायतों में तैनात किया गया है।
- कटेकल्याण ब्लॉक के दिव्यांग सचिव ईश्वर अलामी को ग्राम पंचायत माहरा करका में पोस्ट किया गया है।
- साथ ही, उन्हें बड़े बेड़मा पंचायत का अतिरिक्त प्रभार भी सौंपा गया है।
- संघ ने इसे मानवीय दृष्टिकोण और सरकारी गाइडलाइन दोनों का उल्लंघन बताया है।
सचिव संघ की मांगें
- सभी 42 सचिवों के तबादलों की पुन: समीक्षा की जाए।
- दिव्यांग सचिवों को सुविधायुक्त पंचायतों में तैनात किया जाए।
- ब्रेक इन सर्विस की सजा को तत्काल रद्द किया जाए।
- निलंबित सचिव को बिना शर्त बहाल किया जाए।
- भविष्य के तबादला आदेशों में सीईओ की अनुशंसा अनिवार्य रूप से शामिल की जाए।
Corona Case: एक हफ्ते में कोविड से दूसरी मौत, 6 संक्रमित मिले – स्वास्थ्य विभाग अलर्ट मोड पर
योजनाओं पर असर की चेतावनी
संघ ने यह भी कहा कि कई सचिवों को आपस में अत्यधिक दूरी वाली पंचायतों का अतिरिक्त प्रभार सौंपा गया है, जिससे प्रशासनिक कार्यों और योजनाओं के क्रियान्वयन में परेशानी हो रही है।
- खासतौर पर प्रधानमंत्री आवास योजना जैसे लक्ष्यों की पूर्ति में विलंब हो रहा है।
- बार-बार के तबादलों से स्थानीय प्रशासन की कार्यक्षमता पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ रहा है।