बिलासपुर में स्मार्ट मीटर बने मुसीबत: जनता सड़कों पर उतरने को मजबूर
बिलासपुर: छत्तीसगढ़ के बिलासपुर में स्मार्ट मीटर लगाने का काम उपभोक्ताओं के लिए बड़ी समस्या बन गया है। पिछले तीन महीनों में शहर और ग्रामीण क्षेत्रों में करीब एक लाख स्मार्ट मीटर लगाए गए हैं, लेकिन इनकी वजह से लोगों की परेशानियां बढ़ती जा रही हैं।
लोगों की शिकायत है कि इन स्मार्ट मीटरों के कारण बिजली का बिल 3-4 गुना तक बढ़ गया है। उपभोक्ताओं का आरोप है कि प्रशासन समाधान की बजाय केवल आश्वासन दे रहा है। नागरिक सुरक्षा मंच ने इस मुद्दे को गंभीरता से लेते हुए छत्तीसगढ़ राज्य विद्युत वितरण कंपनी लिमिटेड (CSPDCL) के खिलाफ सड़कों पर उतरने का ऐलान किया है।
स्मार्ट मीटर से जुड़ी प्रमुख समस्याएं
बिलासपुर शहर में अब तक 41,462 और ग्रामीण क्षेत्रों में 58,000 स्मार्ट मीटर लगाए गए हैं। इनसे जुड़ी प्रमुख समस्याएं इस प्रकार हैं:
- बिजली बिल में वृद्धि: डबरीपारा के वार्ड नंबर 55 में 26 घरों को 3-4 गुना अधिक बिल थमाया गया।
- मनमाना काम: सिरगिट्टी क्षेत्र में बिना उपभोक्ता की मौजूदगी के पुराने मीटर उखाड़कर नए मीटर लगाए जा रहे हैं।
- अधूरा कार्य: कई बार केबल जोड़ने का काम अधूरा छोड़ दिया जाता है, जिससे रातभर उपभोक्ताओं को अंधेरे में रहना पड़ता है।
शिकायतों की स्थिति
बिलासपुर (शहर) के अधीक्षण यंत्री पीआर साहू ने बताया कि स्मार्ट मीटर से संबंधित अब तक 213 शिकायतें दर्ज हुई हैं। इनमें 168 शिकायतें शहर और 45 ग्रामीण क्षेत्रों से हैं।
- मुख्य समस्याएं:
- बिजली बिल अधिक आना
- मीटर में तकनीकी गड़बड़ी
- मीटर लगाते समय केबल का डैमेज होना
- घर की एलईडी खराब होना
बिजली विभाग के शिविरों में शिकायतें तो की गईं, लेकिन अब तक ठोस समाधान नहीं निकला।
नागरिक सुरक्षा मंच का ऐलान
नागरिक सुरक्षा मंच के संयोजक अमित तिवारी ने कहा कि बढ़ती शिकायतों के बावजूद ठोस कार्रवाई नहीं होने से लोगों में गुस्सा बढ़ रहा है। उन्होंने बिजली विभाग की मनमानी के खिलाफ मोर्चा खोलने का ऐलान किया है। मंच का कहना है कि अगर जल्द समाधान नहीं हुआ, तो जनता सड़कों पर उतरने को मजबूर होगी।
बिलासपुर में स्मार्ट मीटर लगाने का उद्देश्य उपभोक्ताओं को सहूलियत देना था, लेकिन इसके विपरीत यह उनके लिए परेशानी का सबब बन गया है। अगर प्रशासन ने जल्द कार्रवाई नहीं की, तो स्थिति और बिगड़ सकती है।